कुछ दिन पहले पाकिस्तान में अमेरिकी राजदूत डेविड ब्लोम ने पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (POK) में गिलगित-बाल्टिस्तान की यात्रा की। वहीं इस यात्रा पर विवाद छिड़ा हुआ है। वहीं इसको लेकर भारत में अमेरिकी राजदूत से सवाल पूछा गया तो उन्होंने जवाब दिया है। भारत में अमेरिकी राजदूत एरिक गार्सेटी ने जी20 बैठकों के दौरान कश्मीर का दौरा करने वाले अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल और पाकिस्तान में अमेरिकी राजदूत डेविड ब्लोम की पीओके यात्रा को एक बताया है।
अमेरिकी राजदूत एरिक गार्सेटी ने 20वें भारत-अमेरिका सम्मेलन के दौरान पत्रकारों से बात करते हुए कहा, ”पाकिस्तान में अमेरिकी राजदूत पर प्रतिक्रिया देना मेरी जगह नहीं है। लेकिन वह पहले भी रहे हैं और जाहिर तौर पर जी20 के दौरान जम्मू-कश्मीर में हमारे प्रतिनिधिमंडल में हम भी शामिल थे।”
एरिक गार्सेटी ने कश्मीर मुद्दे पर अमेरिका की स्थिति को दोहराया। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि यह एक द्विपक्षीय मामला है जिसे भारत और पाकिस्तान के बीच बातचीत के माध्यम से हल किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा, “यह एक ऐसा मुद्दा है जिसे भारत और पाकिस्तान के बीच हल किया जाना है, न कि अमेरिका सहित किसी तीसरे पक्ष द्वारा।”
पाकिस्तान में अमेरिकी राजदूत डेविड ब्लोम की Pok की निजी यात्रा के बाद एरिक गार्सेटी का बयान सामने आया है बता दें कि भारत गिलगित-बाल्टिस्तान को अविभाजित जम्मू और कश्मीर का हिस्सा और भारत का अभिन्न अंग मानती है। अपनी यात्रा के दौरान डेविड ब्लोम ने कथित तौर पर विभिन्न मनोरंजक स्थलों का दौरा किया और संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम (UNDP) की चल रही परियोजनाओं का निरीक्षण किया। उन्होंने गिलगित-बाल्टिस्तान विधानसभा की वाइस प्रेसिडेंट सादिया दानिश और विधानसभा सदस्य रानी सनम फरयाद के साथ भी बैठकें कीं।
यह पहली बार नहीं है कि अमेरिकी राजदूत ने पीओके का दौरा किया है। इससे पहले अक्टूबर 2022 में राजदूत डोनाल्ड ब्लोम ने मुजफ्फराबाद का दौरा किया और पाकिस्तान द्वारा नियुक्त प्रधान मंत्री तनवीर इलियास से मुलाकात की। अपनी यात्रा के दौरान डेविड ब्लोम ने 2005 के भूकंप के पीड़ितों को श्रद्धांजलि अर्पित की और अमेरिका और पाकिस्तान के बीच स्थायी साझेदारी की पुष्टि की।