बंगाल के राज्यपाल डॉ. सीवी आनंद बोस ने कोलकाता में मैराथन को हरी झंडी दिखाते हुए खेलों के संबंध में एक दिलचस्प टिप्पणी की। राज्यपाल ने रविवार को कहा, “जब खेल राजनीति में प्रवेश करता है, तो यह निखार लाता है, लेकिन जब राजनीति खेल में प्रवेश करती है, तो यह पूरी तरह अराजकता पैदा करती है।”
25 किमी मैराथन के आठवें संस्करण को रविवार को कोलकाता में राज्यपाल सीवी आनंद बोस, एलटी जनरल आरपी कलिता, ब्रिगेडियर आरके सिंह, प्रमुख सचिव राजेश कुमार सिन्हा, ओलंपिक पदक विजेता कॉलिन जैक्सन, टाटा स्टील के उपाध्यक्ष चाणक्य चौधरी, बंगाल के अग्निशमन मंत्री सुजीत बोस और टीएमसी विधायक देबाशीष कुमार की उपस्थिति में हरी झंडी दिखाई गई।
कार्यक्रम में मीडिया से बातचीत के दौरान राज्यपाल से हाल की एक घटना के बारे में सवाल पूछा गया। सवाल यह था कि जब वह बर्दवान विश्वविद्यालय में प्रवेश कर रहे थे तो तृणमूल छात्र परिषद के सदस्यों ने उनके काफिले पर काले झंडे लहराए थे। इस पर आनंद बोस ने कहा, “जहां सफ़ेद है, वहां काला भी होगा। काला एक खूबसूरत रंग है और मैं इसका स्वागत करता हूं।
राज्यपाल ने 15 दिसंबर को जिले का दौरा किया था। उनका ममता बनर्जी के नेतृत्व वाली तृणमूल कांग्रेस सरकार के साथ टकराव रहा है। राज्यपाल ने राजभवन के अंदर “जासूसी” के प्रयासों का भी आरोप लगाया था।
उधर, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी. चिदंबरम ने हाल में हुए छत्तीसगढ़ और राजस्थान विधानसभा चुनाव में पार्टी की हार को ‘‘अप्रत्याशित’’ और ‘‘चिंता का विषय’’ बताया। चिदंबरम ने ‘पीटीआई-भाषा’ से एक विशेष साक्षात्कार में रविवार को कहा कि बीजेपी हर चुनाव ‘‘ऐसे लड़ती है कि जैसे यह अंतिम लड़ाई हो’’ और विपक्षी दलों को इसका ‘‘अहसास होना चाहिए।’’
उन्होंने कहा, ‘‘तीन राज्यों – छत्तीसगढ़, राजस्थान और मध्य प्रदेश में बीजेपी की जीत 2024 के लोकसभा चुनाव से पहले पार्टी के लिए काफी उत्साह बढ़ाने वाली है। छत्तीसगढ़ और राजस्थान में कांग्रेस की हार अप्रत्याशित है। नतीजे चिंताजनक हैं और मुझे यकीन है कि पार्टी का नेतृत्व कमजोरियों पर ध्यान देगा।’’
बहरहाल, पूर्व केंद्रीय वित्त मंत्री ने कहा कि चार बड़े राज्यों – राजस्थान, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ और तेलंगाना में पार्टी का 40 फीसदी मत प्रतिशत ‘‘बरकरार नजर आता है।’’ चिदंबरम ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि अंतिम व्यक्ति तक चुनाव प्रचार कर, बूथ प्रबंधन और मतदान वाले दिन सुस्त मतदाता को मतदान केंद्र तक लाने जैसे मुद्दों से निपटकर लोकसभा चुनाव से पहले पार्टी का मत प्रतिशत 45 फीसदी तक बढ़ाया जा सकता है।