राज्यसभा के सभापति ने आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद राघव चड्ढा का सस्पेंशन रद्द कर दिया है। बीजेपी सांसद जीवीएल नरसिम्हा राव ने सोमवार को सभापति के सामने राघव चड्ढा की वापसी के लिए प्रस्ताव पेश किया। इस प्रस्ताव पर सभापति जगदीप धनखड़ ने सहमति दे दी। राघव चड्ढा को 11 अगस्त को निलंबित किया गया था। निलंबन को रद्द कराने के लिए राघव चड्ढा सुप्रीम कोर्ट भी पहुंचे थे। इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने भी संज्ञान लिया था। अब 115 दिन बाद उनका निलंबन रद्द कर दिया गया है।
राघव चड्ढा पर आरोप है कि उन्होंने पांच राज्यसभा सांसदों का नाम प्रवर समिति में शामिल करने से पहले उनकी सहमति नहीं ली थी। आप नेता के निलंबन मामले पर चर्चा के लिए सोमवार दोपहर संसद में राज्यसभा की विशेषाधिकार समिति की बैठक हुई। जिनके दस्तखत चड्ढा ने अपने पत्र पर दिखाए थे उनमें से पांच सांसदों का दावा था कि दिल्ली सेवा विधेयक को उनकी सहमति के बिना सेलेक्ट कमेटी को भेजने के प्रस्ताव पर उनके नाम का उल्लेख किया गया था। इस प्रस्ताव में विरोध दर्ज कराने वाले तीन भाजपा सांसद थे। एक बीजद से थे और एक अन्नाद्रमुक सांसद भी शामिल थे।
वीडियो जारी कर जताई खुशी
निलंबन रद्द होने के बाद राघव चड्ढा ने खुशी जाहिर की है। उन्होंने कहा कि 11 अगस्त को मुझे राज्यसभा से निलंबित कर दिया गया था। मैं अपना निलंबन वापस लेने के लिए सुप्रीम कोर्ट गया था। सुप्रीम कोर्ट ने इस पर संज्ञान लिया और अब 115 दिनों के बाद मेरा निलंबन रद्द कर दिया गया है। मैं खुश हूं कि मेरा निलंबन वापस ले लिया गया। मैं सुप्रीम कोर्ट और राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ को धन्यवाद देना चाहता हूं।
My statement on the revocation of my suspension from Parliament today.
आपका बेटा आज से संसद में दोबारा आपकी सेवा में pic.twitter.com/869rRDBylj
उन्होंने कहा कि आप लोगों ने फोन करके, मैसेज करके, ईमेल के जरिए और मिलकर बहुत प्यार दिया, हिम्मत दी लड़ाई लड़ने की, डटे रहने की और इन लोगों से मुकाबला करने की। मैं आपकी सारी दुवाओं के लिए, आशीर्वाद के लिए आपका धन्यवाद करता हूं। अंत में यही कहूंगा कि दुआ करो सलामत रहे हिम्मत हमारी, ये एक चिराग कई आंधियों पर भारी।