Delhi School Shut Down: दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण के चलते केजरीवाल सरकार ने समय से पहले शीतकालीन छुट्टियों का ऐलान कर दिया है। 9 से 18 नवंबर तक सभी स्कूलों में छुट्टी रहेगी, जबकि 19 नवंबर को रविवार है। इसका मतलब है कि अब स्कूल 20 नवंबर को खुलेंगे। इससे पहले 5 नवंबर को सरकार ने 5वीं तक के स्कूल 10 नवंबर तक बंद रखने का निर्णय लिया था। हालांकि छठी से 12वीं तक के स्कूलों को कोई आदेश नहीं मिला था। उन्हें ऑनलाइन क्लासेज का विकल्प दिया गया था। 12 नवंबर को दिवाली है। इस दौरान दिल्ली में प्रदूषण का स्तर और अधिक बढ़ने की संभावना है।
दिल्ली के स्कूलों में विंटर ब्रेक की छुट्टियां दिसंबर-जनवरी के महीने में होती हैं, लेकिन प्रदूषण के चलते इस बार सरकार ने काफी पहले सर्दी की छुट्टियां घोषित कर दी हैं। दिल्ली सरकार का यह फैसला बच्चों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए लिया गया है।
पिछले कई दिनों से दिल्ली में वायु प्रदूषण ‘खतरनाक’ स्थिति पर बना हुआ है। कई इलाकों में एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) 900 के पार तक पहुंच गया। बच्चों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए 10वीं और 12वीं क्लास को छोड़कर सभी क्लासेस 10 नवंबर तक ऑनलाइन मोड में चल रही थीं, लेकिन इस बीच अरविंद केजरीवाल ने समय से पहले ही सर्दी की छुट्टियां घोषित करने का फैसला किया।
दिल्ली में लगातार हवा की गुणवत्ता खराब हो रही है। पूर्व उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने भी बढ़ते प्रदूषण पर चिंता जताई है। नायडू ने बुधवार को कहा कि केंद्र, दिल्ली सरकार और पड़ोसी राज्यों को शहर में वायु प्रदूषण की समस्या से निपटने के लिए आम सहमति से एक फार्मूला विकसित करना चाहिए और इस मुद्दे पर कोई राजनीति नहीं होनी चाहिए। समस्या से निपटने के लिए तत्काल उपाय करने का आह्वान करते हुए उन्होंने कहा कि यह बहुत गंभीर मुद्दा है, क्योंकि यह युवाओं के स्वास्थ्य को प्रभावित करता है। नायडू ने कहा कि वायु प्रदूषण की समस्या को गंभीरता से लिया जाना चाहिए, क्योंकि दिल्ली भारत की राजधानी है और इसमें कोई राजनीति नहीं होनी चाहिए।
दिल्ली-NCR में बढ़ते प्रदूषण की समस्या पर सुप्रीम कोर्ट में मंगलवार 7 नवंबर को सुनवाई हुई थी। इस दौरान जस्टिस संजय किशन कौल ने पंजाब, हरियाणा, UP और राजस्थान सरकारों को सख्त आदेश दिया कि पराली जलाना तुरंत बंद किया जाए। प्रदूषण को देखते हुए हमारा सब्र टूट रहा है, कोर्ट ने कहा कि अगर हमने एक्शन लिया तो हमारा बुलडोजर रुकेगा नहीं।
सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली सरकार को भी निर्देश दिया था कि नगर निगम शहर का ठोस कचरा खुले में न जलाए, क्योंकि दिल्ली को हर साल प्रदूषण से जूझने के लिए नहीं छोड़ा जा सकता। जस्टिस कौल ने केंद्र से कहा कि वह किसानों को सब्सिडी देने और दूसरी फसलों की पैदावार के लिए प्रेरित करे, ताकि ठंड से पहले पराली जलाना बंद हो सके।
मामले की सुनवाई जस्टिस संजय किशन कौल और जस्टिस सुधांशु धूलिया की बेंच कर रही थी। कोर्ट ने अगली सुनवाई की तारीख 10 नवंबर तय की है। यह फैसला दिल्ली में वायु प्रदूषण के लगातार खतरनाक स्तर को कम करने के लिहाज से अहम है। राजधानी की हवा पिछले 8 दिनों से बेहद खराब है। सोमवार को एयर क्वालिटी इंडेक्स 470 था।
31 अक्टूबर को सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली, पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश और राजस्थान को निर्देश दिया था कि वे एक हफ्ते में बताएं कि उन्होंने वायु गुणवत्ता सुधारने के लिए क्या किया। कोर्ट ने वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग दिल्ली NCR रीजन (CAQM) की रिपोर्ट देखने के बाद चार्ट के रूप में और डीटेल्ड रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया था। साथ ही दिल्ली NCR रीजन के वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग से था कहा कि वह प्रदूषण की समस्या शुरू होने की ड्यूरेशन और AQI के साथ खेतों में पराली जलाने की जमीनी स्थिति बताते हुए सारी चीजें चार्ट के रूप में पेश करे।
वायु प्रदूषण को लेकर कमीशन फॉर एयर क्वॉलिटी मैनेजमेंट CAQM ने दिल्ली-NCR की राज्य सरकारों को सरकारी और प्राइवेट ऑफिस में 50% कर्मचारियों को ऑफिस बुलाने और बाकी 50% एम्प्लॉइज को वर्क फ्रॉम होम देने की सलाह दी है।
दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण को लेकर GRAP-IV लागू किया गया है। इसके तहत कमर्शियल गाड़ियों की एंट्री पर रोक लग गई है। सब्जी, फल, दवा जैसी जरूरी सामान की आपूर्ति करने वाले, CNG और इलेक्ट्रिक ट्रकों को छोड़कर बाकी ट्रकों की आवाजाही को प्रतिबंधित कर दिया गया है।
किसी जगह पर GRAP-IV तब लगाया जाता है, जब वहां का AQI लास्ट स्टेज यानी 450-500 के बीच पहुंच जाता है। दिल्ली में GRAP-IV लागू होने के साथ ही GRAP-I, II और III के नियम भी लागू रहेंगे। इनके तहत गैर-जरूरी कंस्ट्रक्शन वर्क, BS-3 कैटेगरी वाले पेट्रोल और BS-4 कैटेगरी वाले डीजल, चार पहिया वाहनों पर बैन लगाया जाता है।