इजरायल-हमास के बीच पिछले कुछ दिनों से भीषण युद्ध जारी है। अब तक इस जंग में दोनों पक्षों के 4000 से ज्यादा लोगों ने जान गंवाई है। वहीं, इजरायल का गाजा पर और हमास का इजरायल पर हमला अब भी जारी है। इस युद्ध के बीच इस बात का कंफ्यूजन जरूर बढ़ गया है कि भारत किसके साथ है इजरायल या फिलिस्तीन? 7 अक्टूबर को जब हमास ने इजरायल पर 5 हजार रॉकेट दागे तो पीएम मोदी ने ट्वीट कर इस हमले की कड़ी निंदा की थी। वहीं, जब इजरायल ने गाजा के अस्पताल पर हमला किया तब भी प्रधानमंत्री ने इसकी निंदा की थी। ऐसे में सवाल यह उठता है कि आखिर भारत किसके साथ है?
इजरायल-फिलिस्तीन मुद्दे पर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने गुरुवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा, “आपने प्रधानमंत्री की टिप्पणियां, ट्वीट और बयान देखा होगा। हमने इजरायल पर हुए भीषण आतंकवादी हमले की कड़ी निंदा की है।” उन्होंने कहा कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय को सभी रूपों और अभिव्यक्तियों में आतंकवाद का मुकाबला करने के लिए एक साथ खड़ा होना चाहिए।
बागची ने यह भी कहा कि फिलिस्तीन का मुद्दा भी था और उस पर, हमने दो-राज्य समाधान स्थापित करने के लिए सीधी बातचीत के पक्ष में अपनी स्थिति दोहराई है। नागरिक हताहतों और मानवीय स्थिति पर हमारी चिंता। हम अंतरराष्ट्रीय मानवीय कानून का कड़ाई से पालन करने का आग्रह करेंगे।
इस सबके बीच पीएम नरेंद्र मोदी ने X (ट्विटर) पर बताया कि उन्होंने फ़िलिस्तीन के राष्ट्रपति महमूद अब्बास से बात की। पीएम ने लिखा, “फ़िलिस्तीन के राष्ट्रपति से बात की। गाजा के अल अहली अस्पताल में नागरिकों की मौत पर अपनी संवेदना व्यक्त की। हम फ़िलिस्तीनी लोगों के लिए मानवीय सहायता भेजना जारी रखेंगे। क्षेत्र में आतंकवाद, हिंसा और बिगड़ती सुरक्षा स्थिति पर अपनी गहरी चिंता साझा की। साथ ही इजरायल-फिलिस्तीन मुद्दे पर भारत की लंबे समय से चली आ रही सैद्धांतिक स्थिति को दोहराया।”
Spoke to the President of the Palestinian Authority H.E. Mahmoud Abbas. Conveyed my condolences at the loss of civilian lives at the Al Ahli Hospital in Gaza. We will continue to send humanitarian assistance for the Palestinian people. Shared our deep concern at the terrorism,…
अंतरराष्ट्रीय समुदाय को आतंकवाद के सभी रूपों का मुकाबला करने के लिए एक साथ खड़ा होना चाहिए, विदेश मंत्रालय ने इजराइल-हमास युद्ध से उत्पन्न स्थिति पर कहा। फिलिस्तीन मुद्दे पर, हमने दो राष्ट्रों के समाधान के लिए प्रत्यक्ष बातचीत के पक्ष में अपना रुख दोहराया है। मंत्रालय ने कहा कि हमने नागरिकों के हताहत होने और मानवीय स्थिति पर चिंता व्यक्त की है। विदेश मंत्रालय ने इजरायल-गाजा संघर्ष पर कहा कि हमने इजरायल पर हुए भीषण हमले की कड़ी निंदा की है।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा, “ऑपरेशन अजय के तहत 5 फ्लाइट में 1200 लोग वापस आए हैं इनमें से 18 नागरिक नेपाल के भी हैं और फ्लाइट भेजने का प्लान चल रहा है। परिस्थिति का जायज़ा लिया जा रहा है। गाज़ा में पहले तकरीबन 4 लोग थे लेकिन हमारे पास पुख्ता आंकड़े नहीं हैं, वेस्ट बैंक में 12-13 लोग थे। गाज़ा में स्थिति ऐसी है कि वहां से निकलना थोड़ा मुश्किल है।”