पंजाब में आम आदमी पार्टी और कांग्रेस आमने सामने दिखाई दे रही है। यह मामला ड्रग व्यापार मामले में कांग्रेस नेता सुखपाल सिंह खैरा की गिरफ्तारी से जुड़ा है। कांग्रेस विधायक को ड्रग तस्करी और मनी लॉन्ड्रिंग के आरोप में गुरुवार को गिरफ्तार किया गया था। दिलचस्प बात यह है कि 2017 में इसी मामले मे पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने उनका बचाव किया था। 2022 में जब खैरा ने कांग्रेस जॉइन की तो पंजाब कांग्रेस के कई वरिष्ठ नेताओं ने भी विरोध जताया था।
सुखपाल सिंह खैरा के खिलाफ 2015 में में फाजिल्का ज़िले में एनडीपीएस एक्ट के तहत मामला दर्ज किया गया था। खैरा तब कांग्रेस पार्टी का हिस्सा थे और यह मामला राज्य में अकाली-भाजपा शासन के तहत दायर किया गया था। हालांकि बाद में 2015 में खैरा आम आदमी पार्टी में शामिल हो गए थे। सुखपाल सिंह खैरा को पहली बार गिरफ्तार नहीं किया गया है, वह पहले भी गिरफ्तार किए जा चुके हैं। इससे पहले उन्हें 2021 में ड्रग्स से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग केस में ईडी ने गिरफ़्तार किया था।
जब 2017 में सुखपाल सिंह खैरा का नाम इस मामले में सुर्खियों में आया था तो तत्कालीन आप सांसद भगवंत मान ने कहा था,”जो लोग सच बोलते हैं उन्हें निशाना बनाया जा रहा है, हम खैरा के पीछे हैं, सुप्रीम कोर्ट से भी उन्हें राहत मिल चुकी है, न तो उनका नाम एफआईआर में है और न ही चार्जशीट में, हमारी कानूनी टीम ने कहा है कि इस मामले में कुछ भी नहीं है और यह सिर्फ राजनीतिक प्रतिशोध है। मैं इसे लोकसभा में उठाऊंगा।” भगवंत मान ने इसे कांग्रेस और अकाली दल की मिलीभगत बताया था।
अब जब सुखपाल सिंह खैरा एक बार फिर कांग्रेस का हिस्सा हैं तो AAP सरकार अब खैरा को गिरफ्तार करने के लिए “नई जांच” का हवाला दे रही है। विशेष जांच दल का नेतृत्व अब वही अधिकारी कर रहा है जो 2015 में फाजिल्का का एसएसपी था जब मामला पहली बार दर्ज किया गया था और जिस पर खैरा ने व्यक्तिगत प्रतिशोध का आरोप लगाया था। खैरा ने कहा है कि नई एसआईटी ने उन्हें समन तक नहीं दिया बल्कि सीधा गिरफ्तार कर लिया।
2022 में कैप्टन अमरिंदर सिंह ने सुखपाल खैरा को वापस कांग्रेस में शामिल कर लिया था। पार्टी अब उनका बचाव कर रही है और राज्य का नेतृत्व प्रताप सिंह बाजवा और राजा सिंह वारिंग कर रहे हैं। लेकिन 2022 में कांग्रेस नेताओं ने उसी मामले का हवाला देते हुए उनके शामिल होने पर आपत्ति जताई टी और कहा था कि कैसे उन्हें इसके सिलसिले में जेल भेजा गया था।